Kar bharosa Radhe naam ka dhokha kabhi na khayega, Har mauke par Krishna tere ghar sabse pehle aayega!
गोकुल मैं हैं जिनका वास, गोपियो संग करे निवास, देवकी यशोदा हैं जिनकी मैया, ऐसे हैं हमारे कृष्ण कन्हैया…
अधुरा हैं मेरा इश्क तेरे नाम के बिना, जैसे अधूरी हैं राधा श्याम के बिना।
प्यार सबको आजमाता हैं, सोलह हज़ार एक सौ आठ रानियों से मिलने वाला श्याम, एक राधा को तरस जाता हैं।
रंग बदलती दुनियाँ देखी, देखा जग व्यवहार, दिल टूटा तब मन को भाया ठाकुर तेरा दरबार।
मन, तू अब कोई तप कर ले, एक पल में सौ-सौ बार राधे कृष्ण नाम का जप कर ले।
मधुवन में भले ही कान्हा किसी गोपी से मिले, मन में तो राधा के ही प्रेम के हैं फूल खिले।
चारों तरफ फैल रही हैं, इनके प्यार की खुशबू थोड़ी-थोड़ी कितनी प्यारी लग रही हैं, साँवरे-गोरी की यह जोड़ी।।
सांवरे तेरी मोहब्बत को, नया अंजाम देने की तैयारी हैं, कल तक मीरा दीवानी थी, आज मेरी बारी हैं।
हे कान्हा, तुम्हे पाना जरूरी तो नहीं, तुम्हारा हो जाना ही काफी हैं मेरे लिए।